मंदसौर में प्रधानमंत्री आवास योजना के 17,000 मकानों की सूची अब तक नहीं हुई सार्वजनिक, गड़बड़ियों की आशंका
पंकज शर्मा
मंदसौर। जिले में प्रधानमंत्री आवास योजना (PMAY) के तहत 17,000 मकानों की स्वीकृति दी गई है, लेकिन अब तक लाभार्थियों की सूची सार्वजनिक नहीं की गई है। इससे पात्र हितग्राहियों में भ्रम और असंतोष की स्थिति बनी हुई है। वहीं, कुछ सचिवों और सहायक सचिवों द्वारा सूची में लेन-देन किए जाने की शिकायतें भी सामने आ रही हैं, जिससे योजना की पारदर्शिता पर सवाल खड़े हो रहे हैं।
लाभार्थियों की सूची सार्वजनिक करने की मांग
प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत गरीब और जरूरतमंद परिवारों को पक्के मकान का लाभ दिया जाता है। लेकिन मंदसौर जिले में अब तक यह स्पष्ट नहीं किया गया है कि किसे मकान मिला और कौन अभी भी प्रतीक्षा सूची में है। ऐसे में लाभार्थी जिला प्रशासन से सूची सार्वजनिक करने की मांग कर रहे हैं, ताकि उन्हें सही जानकारी मिल सके।
गड़बड़ियों की आशंका, जांच की जरूरत
सूत्रों के अनुसार, कुछ सचिव और सहायक सचिव योजना की सूची में गड़बड़ी कर रहे हैं और पात्रता निर्धारण में अनियमितताओं की आशंका जताई जा रही है। यदि जल्द ही सूची को सार्वजनिक नहीं किया गया, तो यह मामला बड़ा विवाद बन सकता है।
जिला पंचायत सीईओ से जवाबदेही की मांग
स्थानीय हितग्राहियों और जागरूक नागरिकों ने जिला पंचायत सीईओ से मांग की है कि प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत लाभार्थियों की सूची तुरंत सार्वजनिक की जाए। इससे पारदर्शिता बनी रहेगी और जरूरतमंद लोगों को उनका अधिकार मिल सकेगा।